दिल की बीमारी के लिए है बेहद जरूरी है एबीसीडीईएफ की जानकारी- डॉ.अभिषेक शुक्ला

Health उत्तर प्रदेश

राष्ट्रीय लिपिड दिवस

पारिवारिक कोलेस्ट्रॉल इतिहास वाले लोगों को चाहिए कि अतिरिक्त सावधानी बरतें

लखनऊ। डिस्लिपिडेमिया नामक दुर्लभ स्थिति के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए हर वर्ष 10 मई को राष्ट्रीय लिपिड दिवस मनाया जाता है। राष्ट्रीय लिपिड दिवस के अवसर पर शुक्रवार को अजंता हॉस्पिटल की ओर से एक स्वास्थ्य कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस अवसर पर हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. अभिषेक शुक्ला ने बताया कि मानव शरीर में हृदय रोगों के एबीसीडीईएफ का बहुत बड़ा महत्व है।

ए-उम्र, बी-रक्तचाप, सी-कोलेस्ट्रॉल, डी-मधुमेह, ई-पर्यावरण, एफ-परिवार का इतिहास।

डाॅ शुक्ला ने बताया कि दवाएं अच्छे कोलेस्ट्रॉल को नहीं बढ़ा सकतीं लेकिन खराब कोलेस्ट्रॉल को कम ज़रूर कर सकती हैं। उन्होंने आगे कहा कि उचित स्वस्थ आहार, सक्रिय जीवनशैली और तनाव मुक्त वातावरण अच्छे कोलेस्ट्रॉल स्तर को बनाए रखने में मदद कर सकते हैं।

डॉ. शुक्ला ने बताया कि पहले लिपिड परीक्षण 40 वर्ष की आयु में किया जाता था, अब 25 वर्ष की आयु के युवाओं को भी लिपिड प्रोफाइल परीक्षण की सलाह दी जाती है क्योंकि शुरुआती दिल के दौरे के मामले अक्सर सामने आते हैं। पारिवारिक कोलेस्ट्रॉल इतिहास वाले लोगों को अतिरिक्त सावधानी बरतनी चाहिए और नियमित रूप से परीक्षण करवाना चाइए।

हमारे शरीर में लिपिड के महत्व को विस्तार से बताते हुए डाॅ शुक्ला ने बताया कि डिस्लिपिडेमिया एक ऐसी स्थिति है जिसमें रक्त में कोलेस्ट्रॉल, ट्राइग्लिसराइड्स और फैटी एसिड सहित लिपिड की मात्रा सामान्य से अधिक होती है। यह आहार, जीवनशैली या लंबे समय तक इंसुलिन के स्तर में वृद्धि के कारण हो सकता है। लंबे समय तक डिस्लिपिडेमिया एथेरोस्क्लेरोसिस जैसी हृदय संबंधी बीमारियों के लिए एक प्रमुख जोखिम कारक है। इसलिए, डिस्लिपिडेमिया के जोखिम को कम करने के लिए स्वस्थ आहार अपनाना, नियमित व्यायाम करना, स्वस्थ वजन बनाए रखना और डॉक्टर द्वारा बताई गई दवा लेना महत्वपूर्ण है।

डाॅ शुक्ला ने बताया कि उच्च प्रसार के बावजूद डिस्लिपिडेमिया का अक्सर निदान नहीं किया जाता है और उपचार नहीं किया जाता है। इसका कारण जागरूकता की कमी, कोई विशिष्ट स्क्रीनिंग कार्यक्रम नहीं होना, स्वास्थ्य देखभाल तक सीमित पहुंच और बहुत कुछ है। राष्ट्रीय लिपिड दिवस लोगों को डिस्लिपिडेमिया के जोखिमों और निवारक उपायों के बारे में शिक्षित करने का एक अवसर है। यह लोगों को अपने हृदय संबंधी स्वास्थ्य का ध्यान रखने और स्वस्थ जीवन शैली अपनाने की भी याद दिलाता है। इस अवसर पर अजंता हाॅस्पिटल के सीजीएम ने भी उपस्थित लोगों से अपने स्वास्थ्य लाभ के लिए अपने प्रियजनों के साथ बहुमूल्य जानकारी साझा करने का अनुरोध किया।

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