3 चरणों में आयोजित होगा राष्ट्रव्यापी ‘जय जवान’ अभियान, 20 मार्च को होगा समापन
लखनऊ। केंद्र की मोदी सरकार के द्वारा लागू किये गए अग्निवीर योजना में युवाओं के साथ हो रहे विश्वासघात और बेरोज़गारी को लेकर अखिल भारतीय कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता तथा सोशल मीडिया हेड सुप्रिया श्रीनेत ने भाजपा सरकार को आड़े हाथों लिया।
सुप्रिया श्रीनेत्र ने कहा कि यह देश के लिए बेहद गंभीर और देश की सुरक्षा का घोर अपमान ही नहीं बल्कि देश के उन 1.5 लाख युवाओं के साथ किया गया भद्दा मज़ाक है जिसके तहत आज देश के 1.5 लाख युवा जिन्हें कठोर चयन प्रक्रिया से गुजरने के बाद 2019 और 2022 के बीच एक नियमित भर्ती अभियान में हमारी 3 गौरवशाली सैन्य बलों भारतीय सेना, भारतीय नौसेना और भारतीय वायु सेना में स्वीकार किया गया था, लेकिन उन्हें सारी प्रक्रियाओं के बाद भी भर्ती से वंचित कर दिया गया, क्योंकि मोदी सरकार ने अचानक सशस्त्र बलों पर अग्निपथ योजना थोप दी। ऐसे युवाओं का साथ हमारे नेता राहुल गांधी द्वारा 31 जनवरी को बिहार में शुरू किए गए एक राष्ट्रव्यापी अभियान ‘जय जवान अन्याय के विरुद्ध न्याय का युद्ध’ के माध्यम से ‘युवा न्याय’ सुनिश्चित करेगी।
उन्होंने कहा कि ‘जय जवान’ अभियान की दो महत्वपूर्ण मांगें हैं। पहली मांग है कि अग्निपथ योजना लागू होने पर 1.5 लाख युवाओं से क्रूरतापूर्वक छीनी गई नौकरियां वापस हो। दूसरी रक्षा बलों में पुरानी भर्ती प्रणाली को बहाल किया जाये, अग्निपथ योजना को ख़त्म करें और बलों में शामिल सभी अग्निवीरों को स्थायी दर्जा प्रदान किया जाए।
सुप्रिया श्रीनेत ने बताया कि राष्ट्रव्यापी ‘जय जवान’ अभियान 3 चरणों में आयोजित किया जा रहा है और 31 जनवरी से शुरू हुआ यह अभियान 20 मार्च तक चलेगा। इसमें पहला चरण 1 फ़रवरी से शुरू हो चुका है जो 28 फ़रवरी तक चलेगा इसके तहत जनसंपर्क कर 30 लाख परिवारों तक पहुंचने का लक्ष्य होगा। दूसरे चरण में सत्याग्रह के तहत अधिक से अधिक युवाओं और उनके परिवारों तक पहुंचा जाएगा साथ ही जानकारी इकट्ठा कर उन्हें चल रहे अभियान के बारे में जागरूक करके शामिल करना होगा। तीसरे चरण में सभी ज़िलों में 50 किमी. तक पदयात्रा निकालने का लक्ष्य है।
श्रीमती सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि पूर्व सेना प्रमुख जनरल मनोज मुकुंद नरवणे (सेवानिवृत्त) के अनुसार अग्निपथ योजना सशस्त्र बलों के लिए ‘अचानक हुए वज्रपात’ बनकर आई है, क्योंकि उनके अनुसार, इसे केवल भारतीय सेना में लागू किया जाना था, लेकिन बाद में इसे भारतीय नौसेना और भारतीय वायुसेना पर भी लागू कर दिया गया। पूर्व सेना प्रमुख का यह भी कहना है कि शुरू में ‘अग्निवीर’ के रूप में नामांकन के 4 साल बाद इस योजना का त्मजमदजपवद 75 प्रतिशत था, जिसे योजना के अपमानजनक रूप से शुरू होने के बाद केवल 25 प्रतिशत में बदल दिया गया था।
सुप्रिया श्रीनेत ने कहा हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा सर्वोपरि है, और हमें यह सुनिश्चित करना चाहिए कि हमारे प्रतिभाशाली देशभक्त युवाओं को हमारी सेनाओं में स्थायी नौकरी मिले।
इस अवसर पर प्रदेश उपाध्यक्ष दिनेश सिंह, मीडिया विभाग चेयरमैन सी.पी. राय, वाइस चेयरमैन मनीष हिंदवी, प्रवक्ता अंशू अवस्थी, प्रियंका गुप्ता, सुधा मिश्रा, डा. रिचा शर्मा, उपस्थित रहे।