एसजीपीजीआई में उत्साह के साथ मनाया गया विश्व डाउन सिंड्रोम दिवस 

Health उत्तर प्रदेश

 

भारत में हर वर्ष लगभग 1.3 लाख बच्चे डाउन सिंड्रोम के साथ जन्म लेते हैं

लखनऊ। डाउन सिंड्रोम एक क्रोमोसोमल बीमारी है, जो बच्चे के विकास में रुकावट पैदा करती है। डाउन सिंड्रोम किसी भी उम्र में गर्भधारण करने वाली महिला के बच्चे को हो सकता है, लेकिन मां की उम्र 35 वर्ष से ज्यादा होने पर खतरा बढ़ जाता है। यह तब होता है जब बच्चे में 21वें क्रोमोसोम की एक एक्स्ट्रा कॉपी मौजूद होती है, जिससे उसके शरीर में कुल 47 क्रोमोसोम हो जाते हैं, जबकि नॉर्मल बच्चों में 46 क्रोमोसोम होते हैं। इस एक्स्ट्रा क्रोमोसोम के कारण बच्चे के शारीरिक और मानसिक विकास में दिक्कत आती है। भारत में हर साल लगभग 1.3 लाख बच्चे डाउन सिंड्रोम के साथ जन्म लेते हैं, यानी हर 830 में से एक बच्चा इस बीमारी का शिकार होता है.

संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान(एसजीपीजीआई) के मेडिकल जेनेटिक्स विभाग द्वारा शुक्रवार को विश्व डाउन सिंड्रोम दिवस बड़े उत्साह के साथ मनाया गया। डाउन सिंड्रोम से पीड़ित 30 से अधिक बच्चों और उनके परिवार के सदस्य इस कार्यक्रम मे शामिल हुए। कार्यक्रम में विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञों द्वारा संचालित सत्र शामिल थे। डाउन सिंड्रोम कीं जागरूकता फैलाना के उद्देश्य से वॉकथॉन का आयोजन किया गया। इस अवसर पर संस्थान के निदेषक, पद्मश्री प्रो.आर.के. धीमन ने वॉकथॉन में भाग लिया तथा कार्यक्रम में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए उन्होने डाउन सिंड्रोम से पीड़ित व्यक्तियों के लिए शीघ्र निदान और सामाजिक स्वीकृति के महत्व पर जोर दिया।

डॉ. शुभा फड़के, विभागाध्यक्ष, मेडिकल जेनेटिक्स ने डाउन सिंड्रोम के आनुवंशिक पहलुओं पर बहुमूल्य जानकारी प्रदान की। अंजलि, ऑक्यूपेशनल थेरेपिस्ट ने डाउन सिंड्रोम वाले बच्चों के दैनिक जीवन के कार्याे को बेहतर बनाने में ऑक्यूपेशनल थेरेपी की महत्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डाला। नवनीत, फिजियोथेरेपिस्ट ने मोटर कौशल और शारीरिक विकास को बढ़ाने में फिजियोथेरेपी के महत्व पर चर्चा की। स्पीच थेरेपिस्ट और मनोवैज्ञानिकों ने भी जानकारीपूर्ण सत्र आयोजित किए, जिसमें डाउन सिंड्रोम से युक्त बच्चो के संचार विकास और भावनात्मक विकास में उनकी भूमिका के बारे में बताया गया। कार्यक्रम को और भी रोचक बनाने के लिए बच्चों ने विभिन्न खेलों, नृत्य कार्यक्रम में भाग लिया।

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