सांस्कृतिक साम्राज्यवाद के प्रभाव को समझें युवा : अखिलानन्द उपाध्याय
साम्राज्यवाद एक ऐसी परंपरा है जिसमें आर्थिक एवं प्रशासनिक रूप से शक्तिशाली कोई एक शक्तिशाली देश जब दूसरे देश पर पूर्ण रूप से नियंत्रण कर लेता है एवं उसका लंबे समय तक आर्थिक शोषण अथवा उसे देश के संसाधनों का अनैतिक रूप से शोषण करता है, उसे साम्राज्यवाद कहते हैं जिसकी अवधि ज्यादा हो सकती […]
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