जनपद आजमगढ़ के करतालपुर स्थित जीडी ग्लोबल स्कूल में 79वां स्वतंत्रता दिवस बड़े ही धूमधाम से मनाया गया। कार्यक्रम का प्रारंभ विद्यालय की निदेशिका श्रीमती स्वाति अग्रवाल,प्रबंधक श्री गौरव अग्रवाल तथा प्रधानाचार्या श्रीमती दीपाली भुस्कुटे के द्वारा ध्वजोत्तोलन से हुआ।
एनसीसी कैडेटों ने राष्ट्रीय ध्वज तिरंगे को सलामी देते हुए बहुत ही शानदार मार्च पास्ट किया।जय हिंद, जय भारत, जय वंदेमातरम् के समवेत स्वर से विद्यालय प्रांगण गूंजायमान हो गया,विद्यालय के विभिन्न सदनों के कैप्टन ने कार्यक्रम में उपस्थित पदाधिकारियों एवं अतिथियों को बैज लगाकर स्वागत किया। बच्चों ने हिंदी और आंग्लभाषा में स्वतंत्रता दिवस के महत्त्व पर अपने अपने विचारों का साझा किया। प्राइमरी विंग के बच्चों ने “वन इंडिया मैस्प” पर दर्शकों को जहां आकर्षित किया वहीं “पैंट्रियाटिक मैस्प” पर नन्हें-मुन्हें बच्चों ने अपने सामूहिक नृत्य से दर्शकों को भाव-विभोर कर दिया। “सारी दुनिया से बढ़कर ऊंची मेरी शान, वो है मेरा हिंदुस्तान” पर बच्चों के सामूहिक गान ने सभी श्रोताओं को मंत्र-मुग्ध कर दिया। नर्सरी और केजी के बच्चे विभिन्न स्वतंत्रता सेनानियों के परिधान में बहुत ही आकर्षक लग रहे थे।
बच्चे तिरंगा लहराकर अपनी भावनाएं व्यक्त कर रहे थे। स्वतंत्रता दिवस के साथ ही साथ सीनियर वर्ग के विद्यार्थियों ने कृष्ण- जन्माष्टमी के पर्व पर सदनश: दही-हांडी फोड़कर अपनी अपनी खुशियां व्यक्त की।दही-हांडी प्रतियोगिता में प्रथम स्थान यूरेनस सदन, द्वितीय नेप्चून सदन तथा तृतीय स्थान मार्स सदन को प्राप्त हुआ। इसी क्रम में कलोत्सव “आविर्भाव” में प्रथम स्थान वीनस सदन, द्वितीय सदन यूरेनस सदन तथा तृतीय स्थान मार्स सदन ने अर्जित किया।
निदेशिका श्रीमती स्वाति अग्रवाल ने गौ सेवा सहभागिता पर जोर देते हुए स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं दी और कहा कि आज के इस शुभावसर पर हम सबको अपने क्रांतिकारियों के अविस्मरणीय योगदान को याद करते हुए अपने स्वास्थ्य पर ध्यान देना चाहिए। जब हम तन-मन से स्वस्थ रहेंगे तभी राष्ट्र सेवा के लिए समर्पित हो सकेंगे।
अपने अध्यक्षीय उद्बोधन में प्रबंधक गौरव अग्रवाल ने भारतीय सेना द्वारा पाकिस्तान को करारा जबाब देते हुए सिंदूर आपरेशन की महत्ता बताते हुए स्वदेशी वस्तुओं के प्रयोग पर जोर दिया। भारत-विभीषिका के बारे में बताते हुए कहा कि 14अगस्त 1947 में भारत के विभाजन के दौरान करोड़ों लोगों द्वारा झेले गए असहनीय दर्द, पीड़ा और बलिदान को याद करने और श्रद्धांजलि अर्पित करने के लिए समर्पित है।
उन्होंने सभी विद्यार्थियों, अभिभावकों और विद्यालय परिवार को एक स्वस्थ समाज की परिकल्पना के लिए प्रेरित किया। प्रधानाचार्या श्रीमती दीपाली भुस्कुटे ने ‘सर्वे भवन्तु सुखिन:’ की संकल्पना के साथ कहा कि आज हम अपने देश के गौरवपूर्ण स्वतंत्रता दिवस का उत्सव मना रहे हैं। यह दिन हमें उन महान स्वतंत्रता सेनानियों की याद दिलाता है, जिन्होंने अपने साहस, त्याग और बलिदान से हमें आज़ादी दिलाई।आप सभी विद्यार्थी हमारे देश का भविष्य हैं,अपने जीवन में ईमानदारी, मेहनत और अनुशासन को अपनाएँ। पढ़ाई के साथ-साथ अच्छे संस्कार और देशभक्ति भी हमारे व्यक्तित्व का हिस्सा होनी चाहिए। इस अवसर पर हम सभी को संकल्पित होना चाहिए कि अपने देश को और अधिक प्रगति, एकता और सम्मान की ऊँचाइयों तक ले जाएँगे।